एक सुंदर युवती मालवा। उसे अपने पास रख छोड़ा है वास्सीली ने, जो अधेड़ उम्र से आगे बढ़ रहा है, जिसका एक बेटा है गबरू जवान याकोव । एक दिन मालवा याकोव को उसके बाप के पास ले आती है, तो वह चौंकता है। ये दोनों परस्पर आकर्षित भी होते हैं, यहां तक कि स्पों तक पहुंच जाते हैं। वास्सीली बर्दाश्त नहीं कर पाता। उनमें झगड़ा होता है। एक है सेयोंझका, जो मालवा से शादी करना चाहता है, पर वह किसकी है! क्या मालवा का प्रेम 'छलना' था ?
मैक्सिम गोर्की तत्कालीन सोवियत संघ के प्रसिद्ध लेखक तथा राजनीतिक कार्यकर्ता थे। उनका असली नाम अलिक्सेय मक्सीमविच पेश्कोव था। उन्होंने समाजवादी यथार्थवाद नामक साहित्यिक परिभाषा की स्थापना की थी।
उनका क्रांतिकारी उपन्यास माँ जिसे ब्रिटिश भारत में पढ़ना अपराध था, यथार्थवादी आंदोलन का सजीव घोषणा-पत्न है। वे दो बार रूस से बाहर रहे। परंतु सोवियत संघ वापस आने के बाद उन्होंने उस समय की सांस्कृतिक नीतियों का समर्थन किया, जिसके कारण सरकार नाराज हो गई और उन्हें फिर कभी देश से बाहर जाने की आज़ादी नहीं मिली।
Hindu (हिंदू धर्म) (12733)
Tantra (तन्त्र) (1024)
Vedas (वेद) (707)
Ayurveda (आयुर्वेद) (1913)
Chaukhamba | चौखंबा (3360)
Jyotish (ज्योतिष) (1474)
Yoga (योग) (1094)
Ramayana (रामायण) (1387)
Gita Press (गीता प्रेस) (729)
Sahitya (साहित्य) (23219)
History (इतिहास) (8313)
Philosophy (दर्शन) (3408)
Santvani (सन्त वाणी) (2583)
Vedanta (वेदांत) (121)
Send as free online greeting card
Email a Friend
Manage Wishlist